देश में खेलों को संचालित करने वाला भारतीय खेल प्राधिकरण (साई) इस समय आर्थिक किल्लत से जूझ रहा है. साई को ये आर्थिक तंगी उस समय आई है जब ये वर्ष (2019) टोक्यो ओलिंपिक के लिए बहुत से खेलों में क्वालीफाइंग वर्ष होने के कारण महत्वपूर्ण है. टाइम्स ऑफ इंडिया के अनुसार उसके सूत्रों को ये पता चला है कि साई को मौजूदा वित्तीय वर्ष 2018-19 में 174 करोड़ रुपए नहीं मिले हैं. बड़ी बात ये है कि एनुअल कैलेंडर फॉर ट्रेनिंग एंड कंपीटिशन (एसीटीसी) के मद में उसे सबसे ज्यादा आर्थिक तंगी का सामना करना पड़ा रहा है. ये योजना नेशनल स्पोट्र्स फेडरेशंस (एनएसएफ) की मदद करने के लिए बनाई गई थी. ये भी पढ़ें- ICC T20 World Cup Fixtures: भारतीय टीम साउथ अफ्रीका के खिलाफ शुरू करेगी अपना अभियान, जानिए पूरा शेड्यूल माना जा रहा है कि साई ने 2018-19 में एनएसएफ स्कीम के लिए खेल मंत्रालय से 340 करोड़ रुपए की मांग की थी. सूत्रों के अनुसार खेल मंत्रालय ने साई को अभी तक 166 करोड़ रुपए जारी किए गए हैं. साई ने शेष 174 करोड़ रुपए भी जल्दी जारी करने के लिए खेल मंत्रालय से गुहार लगाई है. ताकि वह एनएसएफ के लंबित प्रस्तावों का निपटारा कर सके. ये भी पढ़ें- IND vs NZ : गावस्कर ने की पांड्या की तारीफ, कहा- उनके आने से टीम इंडिया संतुलित हुई साई द्वारा मांगी जा रही रकम वाकई बड़ी है और नेशनल स्पोट्र्स फेडरेशंस इसे अपने खिलाड़ियों की ट्रेनिंग और उपकरणों, अंतरराष्ट्रीय प्रतियोगिताओं में भाग लेने और विदेश के एक्सपोजर दौरों पर खर्च करते हैं. आर्थिक तंगी की वजह से टोक्यो ओलिंपिक के लिए तैयारियों पर असर पड़ सकता है. हालांकि साई की महानिदेशक (डीजी) नीलम कपूर ने खेल सचिव को खिलाड़ियों की जरुरत का हवाला देते हुए विशेष अनुरोध के साथ रुपए जारी करने के लिए पत्र लिखा है.
Tuesday, 29 January 2019

आर्थिक किल्लत से जूझ रहा साई, टोक्यो ओलिंपिक की तैयारियों पर पड़ सकता है असर!
देश में खेलों को संचालित करने वाला भारतीय खेल प्राधिकरण (साई) इस समय आर्थिक किल्लत से जूझ रहा है. साई को ये आर्थिक तंगी उस समय आई है जब ये वर्ष (2019) टोक्यो ओलिंपिक के लिए बहुत से खेलों में क्वालीफाइंग वर्ष होने के कारण महत्वपूर्ण है. टाइम्स ऑफ इंडिया के अनुसार उसके सूत्रों को ये पता चला है कि साई को मौजूदा वित्तीय वर्ष 2018-19 में 174 करोड़ रुपए नहीं मिले हैं. बड़ी बात ये है कि एनुअल कैलेंडर फॉर ट्रेनिंग एंड कंपीटिशन (एसीटीसी) के मद में उसे सबसे ज्यादा आर्थिक तंगी का सामना करना पड़ा रहा है. ये योजना नेशनल स्पोट्र्स फेडरेशंस (एनएसएफ) की मदद करने के लिए बनाई गई थी. ये भी पढ़ें- ICC T20 World Cup Fixtures: भारतीय टीम साउथ अफ्रीका के खिलाफ शुरू करेगी अपना अभियान, जानिए पूरा शेड्यूल माना जा रहा है कि साई ने 2018-19 में एनएसएफ स्कीम के लिए खेल मंत्रालय से 340 करोड़ रुपए की मांग की थी. सूत्रों के अनुसार खेल मंत्रालय ने साई को अभी तक 166 करोड़ रुपए जारी किए गए हैं. साई ने शेष 174 करोड़ रुपए भी जल्दी जारी करने के लिए खेल मंत्रालय से गुहार लगाई है. ताकि वह एनएसएफ के लंबित प्रस्तावों का निपटारा कर सके. ये भी पढ़ें- IND vs NZ : गावस्कर ने की पांड्या की तारीफ, कहा- उनके आने से टीम इंडिया संतुलित हुई साई द्वारा मांगी जा रही रकम वाकई बड़ी है और नेशनल स्पोट्र्स फेडरेशंस इसे अपने खिलाड़ियों की ट्रेनिंग और उपकरणों, अंतरराष्ट्रीय प्रतियोगिताओं में भाग लेने और विदेश के एक्सपोजर दौरों पर खर्च करते हैं. आर्थिक तंगी की वजह से टोक्यो ओलिंपिक के लिए तैयारियों पर असर पड़ सकता है. हालांकि साई की महानिदेशक (डीजी) नीलम कपूर ने खेल सचिव को खिलाड़ियों की जरुरत का हवाला देते हुए विशेष अनुरोध के साथ रुपए जारी करने के लिए पत्र लिखा है.
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