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रांची के चान्हो के रहने वाले जवान बुधवार को आतंकी मुठभेड़ में शहीद हो गए. जवान जयप्रकाश उरांव ने चार आतकवादिओं को भी मार गिराया।
असम राईफल्स के जांबाज और झारखंड के लाल जयप्रकाश उरांव 20 नवंबर को घर आने वाले थे. 01 नवंबर को मणिपुर में अपनी टीम को ज्वाईन करने वाले जयप्रकाश की पिछले दिनों पत्नी से बात हुई, तो उन्होंने कहा था कि 20 नवंबर को घर आयेंगे. पत्नी के साथ उनके बच्चे और माता-पिता भी उनके आने का इंतजार कर रहे थे. लेकिन, तय तारीख से पांच दिन पहले उनके इस दुनिया से जाने की खबर आ गयी. पूरे गांव में मातम छाया हुआ है. 20 नवंबर को 4 असम राईफल्स के जिस जवान के स्वागत की तैयारी में परिवार के लोग जुटे थे, अब उसी जवान के शव की उन्हें अगवानी करनी होगी.
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सरकार शहीद के परिजनों को 10 लाख की सहायता राशि प्रदान करेगी।
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-सुकरा उरांव और लक्ष्मी उराईन के लाल हैं जयप्रकाश उरांव
-जयप्रकाश सात भाई-बहन हैं. उनकी तीन बहनें हैं और चार भाई. सात भाई-बहनों में वह दूसरे स्थान पर थे.
-बीए पार्ट वन तक की पढ़ाई की थी जयप्रकाश ने.
-वर्ष 2005 में सेना में भर्ती हुए थे जयप्रकाश उरांव.
-वर्ष 2010 में ऐमा संगीता लकड़ा से जयप्रकाश की शादी हुई.
-एक नवंबर को मणिपुर में ज्वाईन किया था.
-जयप्रकाश की दो बेटियां हैं. उनके नाम सृष्टि (4) और स्मृति (2) हैं.
शहीद जवान को सत सत नमन.. जय हिन्द
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